अशोक कुमार झा
राँची। मुख्यमंत्री श्री रघुवर दास ने कहा कि झारखण्ड विकास वृद्धि दर में देश में दूसरा स्थान रखता है, लेकिन राज्य में कुपोषण बड़ी समस्या है। इस समस्या के समाधान और कुपोषण से मुक्त झारखण्ड हेतु सरकार लगातार प्रयास कर रही है। राज्य का हर नागरिक इस समस्या से लड़ने में राज्य सरकार की मदद करे। ताकि शिशु मृत्यु दर कम हो, प्रति व्यक्ति आय बढ़े, गर्भवती महिलाओं में पोषण को लेकर जागरूकता का संचार जिससे स्वस्थ झारखंड का निर्माण किया जा सके अगर हम यह संकल्प लें कि हम अपनी जिम्मेवारी का निर्वहन ईमानदारीपूर्वक करेंगे तो यह चुनौती बहुत ही छोटी है। वे लातेहार स्टेडियम में आयोजित एनडीडीबी फाउंडेशन फॉर न्यूट्रिशन द्वारा सरकारी स्कूल के बच्चों को मुफ्त दूध वितरण कार्यक्रम “गिफ्ट मिल्क” योजना के शुभारंभ कार्यक्रम में बोल रहे थे।
श्री दास ने कहा कि झारखंड पूरे देश में पहला राज्य है जहां सीएसआर काउंसिल का गठन हुआ कंपनी एक्ट के तहत निजी कंपनियों को 2 प्रतिशत राशि सामाजिक उत्थान के क्षेत्र में खर्च करना होता है। राज्य सरकार ने यह तय किया है कि 1% राशि सीएसआर के तहत राज्य सरकार की जनकल्याणकारी योजना पर खर्च किया जाए, जिसका परिणाम है “गिफ्ट मिल्क योजना” इससे राज्य के भविष्य यानी बच्चों का स्वास्थ्य बेहतर होगा तथा इसके लाभदायक परिणाम आनेवाले दिनों में परिलक्षित होंगे।
श्री दास ने कहा कि कुपोषण के प्रति अगर हम गर्भवती महिलाओं को जागरुक करें तो यह समस्या समाप्त हो जाएगी। सरकार अकेले इस समस्या का समाधान नहीं कर सकती। समाज को मिलकर चिंतन करना होगा। सभी लोग अगर अपने गांव की जिम्मेवारी लें और गर्भवती बहनों को पौष्टिकता के प्रति जागरूक करें तो उनके गर्भ में पल रहा झारखंड का भविष्य स्वस्थ व हष्ट-पुष्ट होगा। राज्य सरकार यूं तो गरीब गर्भवती महिलाओं को पौष्टिकता प्रदान करने हेतु राशि उपलब्ध कराती है लेकिन उनमें जागरूकता की कमी की वजह से वे कुपोषण की शिकार होती हैं और राज्य का शिशु मृत्यु दर बढ़ता है। हम सब में दूसरों के लिए जीने की भावना आनी चाहिए। समाज में ताकत है। सभी लोग अपनी जिम्मेवारी निभाएं तो परिदृश्य बदलते देर नहीं लगेगी। रांची के ओरमांझी स्थित आरा गांव आज आदर्श गांव है। लेकिन कभी वहां गरीबी, अशिक्षा और नशा युक्त गांव हुआ करता था लेकिन वहां के लोगों ने इच्छा शक्ति दिखाई, संवेदनशील हुए और आज वह गांव आदर्श गांव बन गया है। क्या हम सब मिलकर राज्य के 32 हजार गांव को समृद्ध व समरस गांव नहीं बना सकते? राज्य सरकार उन सभी नशा मुक्त गांव को एक लाख रुपए बतौर पुरस्कार प्रदान करेगी। इस ओर हमें आज से नहीं अभी से कदम बढ़ाना चाहिए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार 2018 वर्ष को निरोग बाल वर्ष के रूप में मनाएगी। इस योजना का शुभारंभ लातेहार जिला से हुआ है आने वाले दिनों में राज्य के 10 जिलों की एक लाख से ज्यादा बच्चों को इस योजना से जोड़ने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। श्री दास ने बताया कि राज्य में दूध अन्य राज्यों से आता है राज्य में श्वेत क्रांति लाने हेतु पहल प्रारंभ कर दी गई है युवा वर्ग नौकरी पानी के पीछे नहीं बल्कि नौकरी देने वाले बने कृषि पशुपालन की ओर अग्रसर हों, राज्य सरकार उनको सहयोग करेगी। गव्य पालन हेतु राज्य सरकार की योजनाएं हैं, जिसके तहत तहत अनुदान भी दिया जा रहा है युवा वर्ग इसका लाभ लें और झारखंड की समृद्धि व श्वेत क्रांति के लक्ष्य के सहयोगी बने।
श्री दास ने कहा कि लातेहार समेत झारखंड में वन उत्पाद के जरिए हम आर्थिक प्रगति कर सकते हैं। राज्य सरकार जल्द झार मधु का उत्पादन प्रारंभ करेगी। महिलाओं को मुद्रा योजना के तहत 30 हजार व मधुमक्खी पालन हेतु तीन बक्सा मुफ्त प्रदान किया जाएगा। राज्य में चार जगह शहद हेतु प्रोसेसिंग प्लांट की स्थापना करेगी। लातेहार में लाह बहुतायत में होता है, जिसका उपयोग राज्य सरकार करने वाली है इसके माध्यम से महिलाओं के स्वालंबन और उनके सशक्तिकरण को सुनिश्चित किया जा सकता है। श्री दास ने कहा कि लातेहार में शांति स्थापित करने वाले जवानों को धन्यवाद, जिन्होंने बीहड़ो का खाक छाना और लातेहार को शांति अमन प्रदान की। भटके हुए युवा मुख्यधारा से जुड़ें। राज्य सरकार उनका स्वागत करती है उन्हें हर तरह से मदद करने को तैयार है।
मंत्री, कृषि पशुपालन व सहकारिता, श्री रणधीर कुमार सिंह ने कहा कि राज्य के बच्चों को शुद्ध व पौष्टिक दुग्ध देने का कार्य प्रारंभ हो चुका है। राज्य को कुपोषण से मुक्त झरने का लक्ष्य है। झारखंड दुग्ध निर्यातक राज्य बनेगा, इसके लिए गव्य पालन को बढ़ावा दिया जा रहा है। साहेबगंज, देवघर, पलामू में डेयरी प्लांट लागने की योजना है। किसानों की आय दोगुना करने हेतु प्रयास हो रहें हैं। श्री सिंह ने बताया कि झारखंड मिल्क फेडरेशन ने किसानों से प्राप्त दुग्ध से जो लाभ कमाया है उसका लाभ आज किसानों को बोनस के तौर पर दिया जा रहा है। लातेहार में वर्षों से बंद पड़े डेयरी प्लांट को माननीय मुख्यमंत्री के निदेश पर पुनः प्रारम्भ किया गया।
विकास आयुक्त सह अपर मुख्य सचिव श्री अमित खरे ने कहा कि झारखंड आर्थिक रूप से उभरता राज्य है। 8.6 विकास वृद्धि दर होने के बावजूद माननीय मुख्यमंत्री जी का कहना है कि विकास का लाभ गारू, सरयू, बालूमाथ, चंदवा जैसे सुरदरवर्ती क्षेत्र के लोगों को मिलना चाहिए। माननीय मुख्यमंत्री जी ने हर योजना में जनभागीदारी सुनिश्चित करने का निदेश दे रखा है ताकि जनभागीदारी, गरीब कल्याण नीति के माध्यम से हम सम्पन व समृद्ध झारखण्ड का निर्माण कर सकें। श्री खरे ने बताया कि लातेहार के सरयू स्थित जिस स्कूल में कभी नक्सलियों का कैम्प हुआ करता था वहां पहली बार राज्य के मुख्यमंत्री गये और गरीब कल्याण मेला के जरिए आम लोगों की जनभागीदारी सुनिश्चित की। सीएसआर के तहत कौंसिल का गठन भी मुख्यमंत्री जी के निदेश पर हुआ और इसका परिणाम है गिफ्ट मिल्क योजना।
सचिव, कृषि, पशुपालन व सहकारिता, श्रीमती पूजा सिंघल ने कहा कि राज्य कुपोषण से लड़ रहा है और इस लड़ाई में हमारी जीत तय है। कुपोषण से मुक्ति का एक प्रयास निःशुल्क गिफ्ट मिल्क वितरण योजना है जिसके तहत 5 से 15 वर्ष के सरकारी स्कूलों में पढ़ाई कर रहे बच्चों को 200 एमएल दुग्ध सप्ताह में 5 दिन अलग अलग फ्लेवर में मध्यान भोजन के साथ दिया जायेगा। माननीय मुख्यमंत्री जी की परिकल्पना को हम साकार कर सकें हैं और लातेहार से योजना का शुभारंभ हो रहा है। श्रीमती सिंघल ने बताया कि 2024 तक 38 लाख मिट्रिक टन दुग्ध उत्पादन का लक्ष्य तय किया गया है।
कार्यक्रम में विधायक लातेहार श्री प्रकाश राम, मणिका विधायक श्री हरेकृष्ण सिंह, जिप अध्यक्षा श्रीमती सुनीता कुमारी, मुख्यमंत्री के सचिव श्री सुनील कुमार वर्णवाल, आयुक्त पलामू , एन डी डी बी के अध्यक्ष श्री दिलीप रथ व अन्य मौजूद थे।